प्रबंधन अवधारणा महत्व क्षेत्र और प्रशासन

प्रबंधन अवधारणा महत्व क्षेत्र और प्रशासन 

प्रबंधन अवधारणा महत्व क्षेत्र और प्रशासन 

प्रबंधन काअर्थ-: 

“उपलब्ध संसाधनों का प्रयोग करके, लक्ष्यों को प्राप्त करना ही प्रबंधन है” —- लूथर गुलिक। 

“प्रबंधन का अर्थ योजना बनाना, संगठित करना, आदेश देना, समन्वय बैठना तथा नियंत्रण करना है” —  हेनरी फेयोल। 

प्रबंधन की विशेषताएं-:

  • सतत प्रक्रिया -: प्रबंधन संगठन के निर्माण से संगठन के अंत तक चलने वाली प्रक्रिया होती है 

  • सार्वभौमिक प्रकिया -: प्रबंध एक सार्वभौमिक प्रक्रिया है, क्योंकि इसेनिजी संगठन ,सहकारी संगठन और सरकारी संगठन सभी प्रकार के समीकरणों में प्रबंधन को अपनाया जाता है। 

  • उद्देश्य पूर्ण प्रक्रिया-: प्रबंधन का मुख्य उद्देश्य न्यूनतम संसाधनों द्वारा अधिकतम लक्ष्य को प्राप्त करना होता है। 

  • गतिशीलता- प्रबंध एक गतिशील प्रक्रिया है क्योंकि प्रबंधन की तकनीक के समय के साथ बदलती रहती हैं। 

  • अमूर्तअवधारणा-: प्रबंधन अमूर्त होता है किंतु उसका परिणाम मूर्त होता है। 

  • प्रबंधन कला एवं विज्ञान दोनों है। 

 प्रबंधन की प्रकृति-:

प्रबंधन एक-एक कला के रूप में 

  • यह दूसरों से कार्य करने की कला है। 

  • कला की भांति इसका हस्तांतरण संभव नहीं है। 

  • अन्य कलाओं की भांति प्रबंधन में भी निपुणता हेतु निरंतर अभ्यास की आवश्यकता होती है। 

प्रबंधन एक विज्ञान के रूप में-

  • विज्ञान की भांति इसके सिद्धांत सार्वभौमिक होते हैं। 

  • इसमें नियोजन नियंत्रण, निर्देशन , सामंजस्य जैसे वैज्ञानिक सिद्धांत समाहित है। 

  • विज्ञान की भांति इसका संबंध कारण-कार्य और परिणाम से होता है 

इसलिए प्रबंधन कला एवं विज्ञान दोनों है। 

प्रबंधन का महत्व 

  • उपलब्ध सी में संसाधनों का दक्षतापूर्ण या कुशलतम उपयोग हो पाता है। 

  • प्रबंधन से संगठन के लक्षण को शीघ्रता से प्राप्त किया जा सकता है। 

  • प्रबंधन कर्मचारियों की कार्य कुशलता बढ़ाने तथा उनकी शक्ति का सदुपयोग की सुनिश्चित करने में सहायक है। 

  • प्रबंधन सामूहिक सहयोग की प्राप्ति में सहायक है। 

  • प्रबंधन प्रभावी नियोजन में उपयोगी है। 

  • प्रबंधन लागत को कम करने में तथा प्रतिफल अधिकतम करने में अहम भूमिका निभाता है। 

  • प्रबंधन औद्योगिक समस्याओं का समाधान कर औद्योगिक शांति की स्थापना की दृष्टि से भी महत्वपूर्ण है। 

प्रबंधन के क्षेत्र-:

प्रबंधन का क्षेत्र असीमित है, मनुष्य के जन्म से लेकर मृत्यु तक अनेकों क्षेत्र में प्रबंधन की आवश्यकता होती है; चाहे वह रोटी कपड़ा मकान का प्रबंध हो या बजट का प्रबंध या समय का प्रबंधन। 

प्रबंधन के प्रमुख क्षेत्र-:

  • उत्पादन के क्षेत्र में- श्रम, संगठन, पूंजी ,भूमि जैसे उत्पादन साधनों की कुशलतम उपयोग का प्रबंधन। 

  • व्यापार के क्षेत्र में- अधिकतम लाभ के लिए मांग एवं पूर्ति के मध्य सामंजस्य का प्रबंध। 

  • बैंकिंग क्षेत्र में- जमा राशि तथा निकासी राशि के मध्य साख का प्रबंध। 

  • चिकित्सा के क्षेत्र में- उपलब्ध चिकित्सकीय उपकरणों तथा दवाइयां द्वारा अधिकतम लोगों को स्वस्थ करने का प्रबंध ( उदाहरण के लिए कोरोना काल में ऑक्सीजन के सिलेंडर का प्रबंधन। 

  • शिक्षा के क्षेत्र में- शैक्षिक पाठ्यक्रम की योजना बनाने का प्रबंध, परीक्षा समय अवधि का प्रबंध, विद्यार्थियों की समस्याओं की निराकरण का प्रबंध। 

  • यातायात के क्षेत्र में- 

    • सड़क ट्रैफिक प्रबंधन 

    • रेल समय प्रबंधन 

  • प्रशासन के क्षेत्रमें-: 

    • सरकार एवं जनता के मध्य सामंजस्य का प्रबंधन 

    • रणनीतियों की नियोजन का प्रबंधन 

    • अधीनस्थ विभागों पर नियंत्रण 

    • अधिनस्थों का दिशा निर्देशन 

    • घटना दुर्घटना का प्रबंध। 

प्रबंधन एवं प्रशासन 

प्रबंधन एवं प्रशासन एक दूसरे के पर्यायवाची के रूप में-:

हेनरी फेयोल तथा न्यूमैन जैसे विचारकों ने प्रबंधन और प्रशासन को एक ही बताया है; 

क्योंकि दोनों में ही नियोजन, निर्देशन ,सामंजस्य ,नियंत्रण जैसे तत्व समाहित है और दोनों का ही उद्देश्य सीमित संसाधनों का कुशलतम प्रयोग करना होता है। 

प्रबंधन और प्रशासन में अंतर 

  1. उद्देश्य-: प्रशासन का उद्देश्य अधिकतम जनकल्याण होता है जबकि प्रबंधन का उद्देश्य अधिकतम लाभ होता है। 

  2. संबंध-: प्रशासन का संबंध सार्वजनिक क्षेत्र से है जबकि प्रबंधन का संबंध व्यवसाय के क्षेत्र से है।  

  3. क्षेत्र विस्तार-: प्रशासन उपेक्षाकृत अधिक विस्तृत है क्योंकि इसे जनता की हर पक्ष के लिए कार्य करना होता है जबकि प्रबंधन का क्षेत्र उपेक्षाकृत संकुचित होता है। 

  4. नियमों की कठोरता-: प्रशासन के नियम उपेक्षाकृत अधिक कठोर होते हैं जबकि प्रबंधन के नियम उपेक्षाकृत लचीले होते हैं

  5. गतिशीलता-: प्रशासन उपेक्षाकृत स्थिर प्रकृति का होता है जबकि प्रबंधन उपेक्षाकृत गतिशील प्रकृति का होता है। 

  6. नियंत्रण-: प्रशासन पर सरकार तथा नागरिकों का नियंत्रण होता है जबकि प्रबंधन पर मांग पूर्ति की शक्तियों और ग्राहकों का नियंत्रण होता है।  

  7. उदाहरण-: प्रशासन के अंतर्गत सचिव जिला अध्यक्ष तथा शासकीय कर्मचारी आते हैं जबकि प्रबंधन के अंतर्गत कंपनियों की मैनेजर आते हैं। 

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