भारत में ऊर्जा संसाधन-:

भारत में ऊर्जा संसाधन-:

कार्य करने की दक्षता को ऊर्जा कहा जाता है, 

भारत में ऊर्जा का परिदृश्य

  • परंपरागत ऊर्जा स्रोत -: हमारे देश में वर्तमान में लगभग 57%(235 GW) विद्युत परंपरागत ऊर्जा स्रोतों से प्राप्त होती है. जिसमें से-

    • ताप विद्युत 210 गीगाबाइट 

    • गैस विद्युत 25 गीगावॉट

  • गैर परंपरागत ऊर्जा स्रोत-: हमारे देश में 43% विद्युत गैर-परंपरागत या नवीनीकरण ऊर्जा स्रोतों से प्राप्त होती है, अतः जिसमें से-

    • जल विद्युत से 50 GW 

    • सौर विद्युत से 75 GW

    • पवन विद्युत से 45 GW

    • बायोमास विद्युत से 12 GW. 

 

तपविद्युत-:

कोयला जलाकर, बाप से टरबाइन को घुमाकर बनाई जाने वाली विद्युत। 

  • कुल विद्युत क्षमता-: 210 गीगावॉट। 

  • एजेंसी-: नेशनल थर्मल पावर कॉरपोरेशन ( 1975) 

  • पहला संयंत्र-: हुसैन सागर, हैदराबाद (1933) 

  • प्रमुख संयंत्र-

    • विंध्याचल थर्मल पावर स्टेशन ,सिंगरौली 4760 मेगावाट। 

    • मुंद्रा थर्मल पावर प्लांट, गुजरात 4600 मेगावाट।  

    • सासन अल्ट्रा मेगा प्लांट, सिंगरौली 3900 मेगावाट। 

    • तिरोदा थर्मल प्लांट, महाराष्ट्र 3300 मेगावाट। 

    • तालचेर थर्मल प्लांट उड़ीसा 3000 मेगावाट। 

    • दार्दी थर्मल प्लांट उत्तर प्रदेश। 

सौर्य विद्युत-:

सोलर पावर प्लांट के माध्यम से बनाई जाने वाली विद्युत। 

  • कुल स्थापित क्षमता- 75 गीगावॉट। 

  • सौर्य विद्युत के मामले में भारत का विश्व में तीसरा स्थान है (वर्तमान 2023-24 के अनुसार)

  • प्रमुख सौर विद्युत संयंत्र 

    • भड़ला सोलर पार्क, राजस्थान के जोधपुर में – 2200 मेगावाट।

    • पावागढ़ा सौलर पार्क, कर्नाटक 2000 मेगावाट। 

    • कुर्नूल सौलर प्लांट, आंध्र प्रदेश 1000 मेगावाट। 

    • रीवा अल्ट्रा सोलर प्लांट, 750 मेगावाट। 

पवन विद्युत -:

पवन चक्कियों के माध्यम से बनाई गई विद्युत। 

  • कुल स्थापित क्षमता-: लगभग 45 गीगावॉट। 

  • पवन विद्युत के मामले में भारत का विश्व में चौथा स्थान है। 

  • प्रमुख पवन संयंत्र-

    • मुप्पांडर संयंत्र, कन्याकुमारी 1500 मेगावाट। 

    • जैसलमेर संयंत्र, राजस्थान 1050 मेगावाट। 

    • ब्रह्मणबेल पवन संयंत्र, महाराष्ट्र 550 मेगावाट। 

    • मामटखेड़ा संयंत्र, देवास 100 मेगावाट।

जल विद्युत -:

प्रवाहित जल द्वारा टरबाइन घुमाकर बनाई गई विद्युत, जल विद्युत कहलाती है। 

  • कल संस्थापित क्षमता- 50 गीगावॉट। 

  • एजेंसी-  नेशनल हाइड्रो पावर कॉरपोरेशन लिमिटेड (1975) 

  • पहला संयंत्र-: 1897 को पश्चिम बंगाल के दार्जिलिंग में। 

  • प्रमुख संयंत्र- नदियों में बनाए गए बांध प्रोजेक्ट जैसे- हीराकुंड बांध,टिहरी बांध, भाखड़ा नांगल बांध आदि। 

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